WHAT IS CELL

What is cell : ” The cell is most important invention in nature .” – Sir Rudolf Peters (1968)

The cell is ” a systematically organized community of molecular population in dynamic interactions . It has a morphological , chemical and physical organization which enables it to assimilate , grow and reproduce .”

कोशिका , जीवधारियों की संरचना (structure) एवं जैविक – क्रियाओं (vital activities) की एक इकाई है जो अवकलीय पारगम्य कला (defferentially permeable membrane) से घिरी होती है और जिसमें प्रायः स्वतः जनन की सामर्थ्य होती है | यह विभिन्न पदार्थों का वह छोटे से छोटा संगठित रूप है जिसमें वे सभी क्रियाएं होती हैं जिन्हे सामूहिक रूप से हम जीवन कहते हैं |

कोशिका की खोज – कोशिका की खोज सर्वप्रथम रॉबर्ट हुक (Robert Hook) ने सन् 1665 ई0  में कॉर्क की कड़ी काट के अध्ययन के दौरान की | इन्होने इसमें कोष्ठक जैसे संरचना देखी और इसे Cellula नाम दिया |ल्यूवेनहॉक (Leuwenhoek) ने जंतु कोशिका को देखा और इसे “Animalcule” नाम दिया | कॉर्टी (Corti) ने  सन् 1772 ई0 बताया की हुक द्वारा खोजी गयी कोशिकायें जीवित अवस्था में खाली नहीं होतीं इनमें एक जीवित पदार्थ भरा होता है | फेलिक्स डुजार्डिन (Felix Dujarden) ने  सन् 1835 ई0 में इस पदार्थ को “Sarcode” नाम दिया | पुरकिंजे (Purkinje) ने  सन् 1839 ई0 में इसे “Protoplasm” नाम दिया | इसी बीच सन् 1831 ई0 में रॉबर्ट ब्रान (Robert Brown) ने जीवद्रव्य में केन्द्रक (Nucleus) का पता लगाया | हक्सले (Huxley) ने सन् 1868 ई0 में जीवद्रव्य को “जीवन का भौतिक आधार” (Physical Base of Life) कहा |

CELL THEORY ( कोशिका सिद्धांत ) –

कोशिका की खोज के बाद 19वीं शताब्दी के प्रारम्भ में अनेक वैज्ञानिकों ने कोशिका को जीवन की आधारभूत इकाई कहा | कोशिका सिद्धांत को प्रतिपादित करने के लिए दो जर्मन वैज्ञानिकों को श्रेय दिया जाता है | वनस्पति विज्ञान वेत्ता मैथियस जेo श्लीडन ने वर्ष 1838 तथा जंतु विज्ञान वेत्ता थियोडार श्वान ने वर्ष 1939 में स्वतत्र रूप से कोशिका सिद्धांत को प्रतिपादित किया इसके अनुसार –

1 – प्रत्येक जीव का शरीर एक या एक से अधिक कोशिकाओं से मिलकर बना होता है |

2 – कोशिका प्रत्येक जीवधारी के शरीर की मूलभूत इकाई है अर्थात जीवन की समस्त प्रक्रियाएं कोशिका में ही संपन्न होती हैं |

3 – सभी कोशिकाओं का निर्माण पूर्ववर्ती जीवित कोशिका से ही होता है ( “OMNIS CELLULA A CELLULEA” – Rodolf Virchow 1958 )

PROKARYOTIC CELLS AND EUKARYOTIC CELLS :

PROKARYOTIC CELLS AND EUKARYOTIC CELLS :
कोशिका के प्रकार (Types Of Cell) : संरचना के आधार पर जीवधारियों में दो प्रकार की कोशिकाएं पायी जाती हैं –
1 – प्रोकैरियोटिक कोशिका (Prokaryotic Cells)
2 – यूकैरियोटिक कोशिका (Eukaryotic Cells)
1 – प्रोकैरियोटिक कोशिका (Prokaryotic Cells) : Gr. , pro = primitive ; karyon = nucleus
रचना के आधार पर ये कोशिकाएं आद्य (primitive) होती हैं | इन कोशिकाओं में केन्द्रक कला (nuclear membrane) नहीं होती जिस कारण केन्द्रक में पाए जाने वाले पदार्थ , जैसे – प्रोटीन , न्यूक्लिक एसिड , डीएनए और आरएनए कोशिका द्रव्य के सीधे संपर्क में रहते हैं | ऐसे केन्द्रक को आरंभी केन्द्रक (incipient nucleus) या न्यूक्लियाड (nucleoid) कहते हैं | इन कोशिकाओं में पूर्ण रूप से विकसित कोशिकांग (cell orgenelles) , जैसे – लवक , माइटोकांड्रिया तथा अंतःप्रदव्यी जालिका आदि यूकैरियोटिक कोशिकांग नहीं होते यद्यपि 70S प्रकार के राइबोसोम पाए जाते हैं | डीएनए में हिस्टोन प्रोटीन के साथ सम्बद्ध नहीं होता है | नीले – हरे शैवालों (blue-green algea) तथा जीवाणुओं में इस प्रकार की कोशिकाएं पायी जाती हैं |

2 – यूकैरियोटिक कोशिका (Eukaryotic Cells) : Gr. eu = good or well ; karyon = nucleus
इस प्रकार की कोशिकाओं में पूर्ण विकसित केन्द्रक ( केन्द्रक कला सहित ) उपस्थित होता है | इन कोशिकाओं में पूर्ण रूप से विकसित कोशिकांग (cell orgenelles) , जैसे – लवक , माइटोकांड्रिया , गाल्जी काय तथा अंतःप्रदव्यी जालिका आदि सुविकसित कोशिकांग उपस्थित होते हैं | साथ ही साथ 80S राइबोसोम पाए जाते हैं | डीएनए हिस्टोन नमक प्रोटीन के साथ सम्बद्ध होता है | इस प्रकार की कोशिकाएं नीले – हरे शैवालों (blue-green algea) तथा जीवाणुओं को छोड़कर शेष शैवालों तथा पौधों एवं जंतुओं में पायी जाती हैं |


Leave a Comment

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Scroll to Top